चंडीगढ़ ( Dev Sheokand )
भारतीय किसान यूनियन की रैली में हुए लाठीचार्ज के बाद भाजपा डैमेज कंट्रोल करने में जुटी है। भाजपा प्रदेशाध्यक्ष के निर्देशन पर गठित तीन सांसदों की कमेटी ने शनिवार को रोहतक और करनाल में किसानों से बातचीत की। रविवार को पंचकूला में किसानों से बातचीत करेगी। कमेटी का कहना है कि वे किसानों के सुझाव केंद्रीय नेतृत्व को बताएंगे।
वहीं, किसान नेता गुरनाम सिंह चढूनी ने इसे सरकार की साजिश बताया और कहा कि सरकार आंदोलन को तोड़ने का प्रयास कर रही है। यहां कृषि में सुधार के लिए केंद्र सरकार की ओर से जारी किए गए तीन अध्यादेशों का किसान विरोध कर रहे हैं।
चढूनी ने कहा की ढकोसला है ये कमेटी
गुरनाम सिंह चढूनी ने वीडियो जारी करते हुए कहा कि भाजपा प्रदेशाध्यक्ष ओमप्रकाश धनखड़ ने जो तीन सांसदों की कमेटी बनाई है, वो एक ठकोसला है, एक छल है। कमेटी अंजान किसानों से राय लेकर रिपोर्ट देंगे। आक्रोशित आंदोलन को दबाने के लिए ये एक षड़यंत्र है। चढूनी ने कहा कि मैं ओपी धनखड़ से पूछना चाहता हूं कि 14,15 सितंबर को संसद का सैशन आ रहा है। उसमें इन तीनों अध्यादेशों को कानून बनाने के लिए प्रस्ताव रख दिया है। चार दिन के अंदर कमेटी क्या काम कर देगी।
सबसे पहला मेरा सवाल है धनखड़ साहब ईमानदारी से काम करना चाहते हैं तो संसद के इस सत्र में सबसे पहले इन अध्यादेश को निकाला जाए। अगर ऐसा नहीं किया गया तो सीधे तौर पर सरकार आंदोलन को दबाना चाहती है। किसानों से आह्वान है कि आंदोलन को किसी भी हालत में न दबने दे। इसे राजनीतिक आंदोलन नहीं होने दिया जाएगा।
किसान नेता गुरनाम सिंह चढूनी ने कहा कि कुछ चीजें सामने आ रही हैं कि कुछ किसान संगठन आंदोलन को सरकार को बेचना चाहते हैं। सरकार को जो बात करनी है, वो सीधे हमारे साथ करे। वो मान्य होगी। कुछ सरकारी संगठनों से बात करके सरकार इस आंदोलन को तोड़ने का प्रयास कर रही है।